भोपाल की 3 बहनों ने बदली समाज की सोच...मनाई माता-पिता की 50 वीं विवाह वर्षगाठ, दिया ये संदेश
भोपाल। केन्द्रीय कृषि अभियांत्रिकी संस्थान से सेवानिवृत्त तकनीकी अधिकारी वीके विश्वकर्मा 'पांचालरत्न' फिलहाल भोपाल में रह रहे हैं और इनकी तीनों बेटियां गीता, माधवी, सीता शादीशुदा हैं। लेकिन उनका मानना है कि बेटे भाग्य से, बेटियां सौभाग्य से पैदा होती हैं। अपने परिवारों की जिम्मेदारियां उठाने के साथ-साथ ये बेटियां अपने माता-पिता की भी खूब देखभाल करती हैं। बेटियां हर क्षेत्र में अपने आपको साबित कर रही हैं। उनकी कामयाबी ये बताने के लिए काफी है कि लड़कियां लड़कों से किसी भी बात में कम नहीं हैं। बेटियां बेटों से बढ़कर मां-बाप को प्यार और सम्मान देती हैं। अब तो बेटियां मां-बाप के बुढ़ापे का सहारा भी बन रही हैं।
आजका ताजा उदाहरण भोपाल का है। जहां तीन बेटियों ने अपने माता-पिता की 50 वीं वर्षगांठ अवंतिका मैरिज गार्डेन नई जेल रोड़ करोंद में बहुत धूमधाम से मनाई। जिसमें शादी-विवाह समारोह से कहीं बढ़ चढ़कर अपने रिश्तेदारों, परिचितों को बुलाकर 'स्वर्ण जयंती महोत्सव' का यह भव्य कार्यक्रम मनाया गया। इस कार्यक्रम का संदेश समाज में यह गया कि बेटियां बेटों से कहीं अधिक माता-पिता के प्रति समर्पित भाव रखती हैं। सामाजिक रूप से भी बेटों से कहीं अधिक बढ़कर बेटियों ने माता-पिता और समाज का नाम रोशन किया है। अपने परिवारों की जिम्मेदारियां उठाने के साथ-साथ ये बेटियां अपने माता-पिता की भी खूब देखभाल करती हैं।श्री पांचालरत्न ने हमेशा बेटियों को पूरी तरह से संस्कारी रखते हुए शैक्षणिक, सामाजिक, धार्मिक आदि का खूब ज्ञान दिया और खूब तन-मन-धन लगाकर पढ़ाया लिखाया। बेटियां सामाजिक परिवेश में रहती हुई खूब सुशिक्षित बनी। उन्होंने बताया कि तीनों दामाद भी उनकी पूरी सेवा करते हैं और कभी बेटियों को आने-जाने से नही रोकते। उनके अनुसार शायद अगर बेटे होते तो इतना नहीं संभाल पाते।महोत्सव के अवसर पर देश और प्रदेश के अनेकों स्थानों से विभिन्न क्षेत्रों की नामचीन शख्सियत गुजरात, राजस्थान, बिहार, झारखंड, छत्तीसगढ़, महाराष्ट्र, दिल्ली, उत्तरप्रदेश, सहित मध्यप्रदेश के अनूपपुर, शहडोल, उमरिया, कटनी, सतना, जबलपुर, नरसिंहपुर, होशंगाबाद, इंदौर, उज्जैन, देवास, सीहोर, अशोकनगर, बीना, विदिशा, रायसेन, भोपाल के उपस्थित होकर देश के सुप्रसिद्ध समाजसेवी विजय कुमार एवं राधा के 50 वीं वैवाहिक वर्षगांठ पर शुभकामनाएं दी है।
इस स्वर्णिम अवसर पर देश के प्रसिद्ध समाजसेवी वीके विश्वकर्मा 'पांचालरत्न' के व्यक्तित्व एवं कृतित्व पर केन्द्रीत प्रकाशित बहुरंगीय स्मारिका उनके द्वारा महोत्सव में शरीक हुए सभी मेहमानों को उपहार स्वरूप सप्रेम भेंट की गई। पांचालरत्न दम्पति की इस विनम्रता, सामाजिक प्रतिबद्धता तथा सेवाभावी जीवन शैली को मुक्तकंठ से सराहा।करोंद स्थित खूबसूरत अवंतिका मैरिज गार्डन में सैकड़ों की संख्या में मध्यप्रदेश के विभिन्न क्षेत्रों के शिक्षविदों, सामाजिक पुरोधाओं, मनीषियों, उद्योगपतियों, बुद्धिजीवियों, विभूतियों का जो आशीर्वाद, प्यार, स्नेह मिला है उसको जीवन पर्यन्त भुलाया नहीं जा सकता। उपस्थित स्नेहियों, शुभचिंतकों, मित्रों, रिश्तेदारों, साहित्यकारों, पत्रकारों को दिल की गहराइयों से धन्यवाद और आभार व्यक्त किया हैं।
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